उत्तराखंड, 5 अगस्त। उत्तराखंड में कुदरत का कहर थमने का नाम नहीं ले रहा है। मंगलवार दोपहर करीब डेढ़ बजे उत्तरकाशी जनपद के धराली गांव के ऊपर पहाड़ी पर बादल फटने से भारी तबाही मच गई। अचानक आए इस सैलाब ने देखते ही देखते गांव के कई हिस्सों को मलबे से ढक दिया। राली बाजार और आसपास के क्षेत्रों में भीषण नुकसान हुआ है। कई लोगों के मलबे में दबे होने की सूचना है जबकि कुछ लोग होटल और खीरगंगा के दूसरी ओर स्थित घरों में फंसे हुए हैं। स्थानीय लोगों के अनुसार, दोपहर के समय आसमान में घने बादल छा गए थे। तभी अचानक मूसलधार बारिश के साथ बादल फटने की आवाज सुनाई दी। पहाड़ों से भारी मात्रा में मलबा और पानी का सैलाब गांव की ओर दौड़ पड़ा। खीरगंगा नदी देखते ही देखते उफान पर आ गई। पानी और मलबे का बहाव इतना तेज था कि गांव की गलियों, दुकानों और घरों को अपनी चपेट में ले लिया। लोग जान बचाने के लिए इधर-उधर भागने लगे

इस भयावह मंजर को देखकर गांव में अफरा-तफरी मच गई। लोग चीखते-चिल्लाते हुए सुरक्षित स्थानों की ओर भागे। कई लोगों ने ऊंचे स्थानों पर जाकर अपनी जान बचाई। इस दौरान कुछ लोग मलबे में दब गए और कई घरों में फंस गए। प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि कुछ लोग अपने मोबाइल से इस घटना का वीडियो बना रहे थे, तभी वे भी चिल्लाते हुए मलबे की चपेट में आने से खुद को बचाने लगे। घटना की सूचना मिलते ही प्रशासन हरकत में आ गया। हर्षिल से सेना, पुलिस और एसडीआरएफ की टीमों को मौके पर रवाना कर दिया गया है। जिला आपदा प्रबंधन अधिकारी शार्दुल गुसांई ने बताया कि रेस्क्यू टीमें तेजी से राहत और बचाव कार्य के लिए भेजी गई हैं। स्थिति पर लगातार नजर रखी जा रही है।

प्रशासन ने लोगों से सुरक्षित स्थानों पर जाने और अफवाहों से बचने की अपील की है।फिलहाल इलाके में भारी नुकसान की सूचना है। कई घर, दुकानें और होटल मलबे में दब गए हैं। हालांकि प्रशासन ने अभी तक किसी की मृत्यु की आधिकारिक पुष्टि नहीं की है, लेकिन मलबे में कई लोगों के दबे होने की आशंका जताई जा रही है। स्थानीय प्रशासन और आपदा प्रबंधन विभाग नुकसान के आकलन में जुटे हैं।

मुख्यमंत्री ने ली स्थिति की समीक्षा
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने घटना का संज्ञान लेते हुए जिलाधिकारी उत्तरकाशी से स्थिति की जानकारी ली है और रेस्क्यू ऑपरेशन को प्राथमिकता देने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने प्रभावितों को हर संभव मदद देने का आश्वासन दिया है।